3 प्राचीन आयुर्वेदिक जड़ी बूटियां
ब्राह्मी:
ब्राह्मी, जिसे ' ब्रेन टॉनिक ' भी कहा जाता है, से याददाश्त बढ़ती है, चिंता कम होती है और अच्छी नींद आती है। यह एक प्राकृतिक शामक औषधि (नींद लाने वाली दवा) के रूप में काम करती है। सोने से पहले एक कप ब्राह्मी चाय पीने से मन शांत और तनाव दूर, जिससे आप चैन की नींद सो पाते हैं। इस जड़ी-बूटी के नियमित सेवन से अनिद्रा का इलाज भी हो सकता है।
अश्वगंधा:
ऊर्जा बढ़ाने, तनाव घटाने और थकान भगाने के लिए आयुर्वेद में वर्षों से अश्वगंधा का प्रयोग किया जा रहा है। यह मन और इंद्रियों के बीच समन्वय को बढ़ाकर अनिद्रा के इलाज में भी मदद करता है। नींद के उपचार के लिए आधा चम्मच अश्वगंधा चूर्ण रात को दूध में मिलाकर लीजिये।
जटामांसी:
जटामांसी चिंता या तनाव दूर करने की एक प्राकृतिक दवा है, जिसमें शामक, निराशा दूर करने और शांति देने वाले गुण होते हैं। इसीलिए, जिन लोगों को तनाव की वजह से नींद नहीं आती है, उन लोगों के लिए यह एक अच्छा इलाज है। पाउडर के रूप में लें या गर्म पानी में 4-5 घंटे के लिए भिगोने के बाद सोने से पहले इसके पानी को पियें।
अच्छी नींद लेने के अलावा आपके पास मन और शरीर को पुनः ऊर्जावान बनाने का दूसरा कोई विकल्प नहीं है। इसीलिए, नींद ना आने पर इसका इलाज करने के लिए इन प्राकृतिक आयुर्वेदिक उपचारों की मदद लें। इससे आप मन व शरीर को आराम देकर सुंदर और अच्छे सपने देख पाएँगे।